Thursday, November 18, 2010

कल रात सपने में पापा के पाँव देखे

वो पाँव, जिनसे उन्होंने जिंदगी के ७० बरस पार कर लिए

जाने कितने रस्ते नापे....वो पैर ही तौ थे साथ

जब छूटा पापा का घर , शहर छूटा...,

पूरी जिंदगी भागते रहे उनके पैर ...हमारे लिए....

तब भी जब खुद अपने पैरों पर खड़े हो चुके थे हम,

लेकिन वो पैर एक दिन थम गए

वों अस्पताल था

याद करती हूँ

उस ज्योतिष ने पैर देख कर ही तौ कहा था...,उम्र लम्बी है पापा की

पर पापा बहुत थक गए थे.............सो गए.....